
डेस्क
बैगा वनवासियों के लिए अपना जीवन समर्पित करने वाले प्रोफेसर प्रभुदयाल खेरा की आत्मा की शांति हेतु सर्व पितृ मोक्ष अमावस्या पर उनकी कर्म स्थली लमनी में शांति भोज का आयोजन किया गया । इस अवसर पर उनका दशगात्र ,तेरहवीं करते हुए पिंडदान, तर्पण और श्राद्ध किया गया।
मुखाग्नि देने वाले सुनील जायसवाल एवं प्रदेश महामंत्री अटल श्रीवास्तव छ.ग. षासन के सचिव आर.पी.मण्डल प्रवक्ता अभय नारायण राय महेष दुबे पूर्व सांसद लखन साहू मुंगेली से दुर्गा बघेल की उपस्थिति में सभी लोगो ने प्रार्थना की। इस अवसर पर उनको जानने वाले, उनको मानने वाले बडी संख्या में उपस्थित थे।
सर्वप्रथम पूजा-पाठ के बाद उनके तैल चित्र पर पुष्प अर्पित कर श्रद्धांजली प्रदान की गयी । फिर छपरवा स्कूल, लमनी स्कूल तथा प्रोफेसर खेडा से शिक्षा प्राप्त करने वाले बच्चों को उनकी आवश्यकता की चीजे काॅपी, किताब, जूते, मोजे, कपड़े व टिफिन बाक्स आर पी मण्डल , अटल श्रीवास्तव के हाथों वितरित किया गया। स्कूल के सभी शिक्षक भी इस अवसर पर बच्चों के लिए उपहार लेकर उपस्थित हुये थे। हमेशा खादी धारण करने वाले खेरा की स्मृति में खादी के कपडे भी वितरित किये गये।
श्रद्धांजली सभा को आर.पी.मण्डल, अटल श्रीवास्तव ने संबोधित किया। इस अवसर पर मुंगेली लोरमी गौरेला पेण्ड्रा कोटा बिलासपुर से सैकडों लोग अकेले एवं परिवार सहित उपस्थित थे। इस अवसर पर ग्रामीणों और बच्चों के लिए श्राद्ध भोज का आयोजन किया गया जिसमें सचिव आरपी मंडल कांग्रेस महामंत्री अटल श्रीवास्तव और महेश दुबे ने भोजन परोस। इस मौके पर सबके चेहरे उदास थे, आंखे नम थी और एक ही सवाल था कि दिल्ली वाले साहेब चले गये ,अब कौन हमारी शिक्षा स्वास्थ्य और बच्चों का ख्याल करेगा। अटल श्रीवास्तव ने उनको जानने मानने और वहां पहुुंच कर श्रद्धांजली देने वालों का आभार प्रकट करते हुए कहा कि मानव से महामानव की यात्रा प्रो खेरा ने की । उनकी स्मृतियों को सहेज कर रखने का कार्य विधायक निधि एवं सांसद निधि से प्रदत्त राषि से किया जायेगा। जल्द ही उनकी मूर्ति कुटिया के समीप स्थापित की जायेगी। कुटिया जैसी है वैसी ही उसे सहेज कर ओैर उनके द्वारा उपयोग किये गये सारे सामानेां को वहां रखी गयी किताबों को उसी तरह उसी अवस्था में सहेज कर रखने का प्रयास किया जायेगा।