
रतनपुर जुगनू तंबोली
रतनपुर – उत्तरप्रदेश के हाथरस में हुए गैंगरेप के मामलों को लेकर अब प्रदेश की राजनीति में भी भूचाल आ गया है। कांग्रेस और बीजेपी के बीच इन मसलों पर जमकर नोक झोंक चल रही है। जिसकी चिंगारी ग्रामीण अंचलों में सुलगने लगी है। इसी कड़ी में सोमवार को रतनपुर के सभी कांग्रेसियों ने मामले में जमकर विरोध प्रदर्शन किया। कांग्रेस सेवा दल और ब्लाक कांग्रेस के संयुक्त तत्वावधान में ग्रामीण क्षेत्रों के सभी पदाधिकारी और सदस्य बड़ी संख्या में महामाया चौक में उपस्थित होकर उत्तरप्रदेश के योगी के कार्यप्रणाली पर सवाल उठाते हुए जमकर नारेबाजी की। जिसके बाद बाइक रैली निकालकर कर तहसील ऑफिस पहुँच एसडीएम को रामनाथ कोविंद से योगी सरकार को भंग करने की मांग की है। इस दौरान उन्होंने बताया कि दलित समाज की बेटी के साथ दुष्कर्म वाले मामले में कानून व्यवस्था को लेकर आरोप लगाया कि एक तरफ प्रधानमंत्री के कहने पर मुख्यमंत्री योगी परिवार वाले को सहयोग करने का झूठा दिलासा दे रहे है।
तो वही वहां के डी.एम. ( जिला दण्डाधिकारी ) परिवार वालो को अपना बयान बदलने की धमकी देते हुये साफ नजर आ रहे है। कांग्रेसियों के अनुसार हाथरस के जिला दण्डाधिकारी पुलिस अधीक्षक एवं अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक को बर्खास्त करने की कार्यवाही की जानी थी। इस दौरान ब्लॉक कांग्रेस के अध्यक्ष ने कहा कि इस प्रकार की घटना को अंजाम देकर उत्तर प्रदेश सरकार ने अनुसूचित जाति समाज एवं नारी जाति को अपमानित किया है जो प्रजातंत्र और देश के संविधान के खिलाफ है। जिसे लेकर कड़े निर्णय लेने की जरूरत है। रैली में मुख्य रूप से आनन्द जायसवाल ब्लाक कांग्रेस अध्यक्ष ,सुभाष अग्रवाल,शिवा पांडे, वादीर खान, मदन कहरा ,दामोदर सिंह,यूनुस मेमन,रामगोपाल कहरा,राकी अनुरागी,वली मेमन,गंगा राम लस्कर जिला अध्यक्ष कांगेस सेवा दल, गोदावरी बाई कमलेशन जिला पंचायत सदस्य, वीरेन्द्र साहू ग्रामीण अध्यक्ष,राजकुमार कौशिक,किशोर कमल,रघबीर कौशिक, संजय कोसले, अस्वनी डगरजी,राज कुमार सिंह राज जनपद सदस्य उपस्थित रहे।
14 सितंबर को हुआ था रेप,,जिसकी आग अब पूरे देश मे फैल गई है..
हाथरस के थाना चंदपा इलाके के गांव में 14 सितंबर को चार दबंग युवकों ने 19 साल की दलित लड़की के साथ बाजरे के खेत में गैंगरेप किया था। इस मामले में पुलिस ने लापरवाही भरा रवैया अपनाया। रेप की धाराओं में केस ना दर्ज करते हुए छेड़खानी के आरोप में एक युवक को हिरासत में लिया। इसके बाद उसके खिलाफ धारा 307 (हत्या की कोशिश) में मुकदमा दर्ज किया गया था। वही स्थानीय पुलिस की उक्त रैवये और योगी सरकार के चुप्पी को लेकर मामले का विरोध पूरे देश मे हो रहा है।