डेस्क
चिकित्सक को भगवान का दर्जा दिया जाता है । डॉक्टर अपनी ओर से भरसक प्रयास करता है कि मरीज की जान बच जाए और वह स्वस्थ हो जाए लेकिन डॉक्टर भी आखिरकार है तो हाड़ मास का बना एक पुतला ही । डॉक्टर के पास अमृत नहीं है जो वह हर मरीज की जान बचा दे । जब भी अस्पताल में कोई अवांछित घटना हो जाती है या फिर मरीज की जान चली जाती है तो उसके बाद मरीज के परिजन अस्पताल में तांडव करने लगते हैं। अक्सर अस्पताल में तोड़फोड़ के साथ डॉक्टर और मेडिकल स्टाफ के साथ मारपीट भी की जाती है और अब तो यह सब कुछ योजनाबद्ध तरीके से किया जाने लगा है । जिसका ज्वलंत उदाहरण कोलकाता में नजर आया । कुछ लोगों ने अस्पतालों पर हमले को उगाही का जरिया बना लिया है । ऐसे ही लोगों द्वारा किए गए कुकृत्य के विरोध में शुक्रवार को सिम्स के चिकित्सक दोपहर 12:00 बजे सिम्स के सामने धरना प्रदर्शन कर अपना विरोध दर्ज कराएंगे । लगातार चिकित्सकों पर हो रहे हमले और सुरक्षा बंदोबस्त में नाकामी की वजह से चिकित्सक अपना काम सही ढंग से करने में खुद को असमर्थ बता रहे हैं । नर्सिंग होम एक्ट भी उन्हें सुरक्षा प्रदान नहीं कर पा रहा । दरअसल कोलकाता के नील रतन सरकार मेडिकल कालेज में 85 वर्षीय मोहम्मद शाहिद को सोमवार सुबह काफी गंभीर हालत में भर्ती करवाया गया ! उसे उल्टी पेट दर्द और दस्त हो रहा था। इलाज के दौरान ही उसकी मौत हो गई ! जिसके बाद उसके रिश्तेदारों और धर्मांध लोगों ने अस्पताल में जबरन घुसकर जुनियर डाक्टर परिवाह मुखर्जी और डा यश टेकवानी को इस कदर बेरहमी से पीटा कि मुखर्जी कोमा में चले गये और डाक्टर यश की हालत गंभीर बनी हुई है। इलाज के दौरान डाक्टर परिवाह मुखर्जी की दुःखद मृत्यु हो गई । बंगाल में हुई इस घटना को स्थानीय लोग मेडिकल जेहाद का नाम दे रहे हैं। उनका आरोप है कि अक्सर एक समुदाय द्वारा अपने मरणासन्न मरीजों को दूसरे धर्म के चिकित्सकों वाले अस्पतालों में भर्ती कराया जाता है और उनकी मौत के बाद इसी तरह हंगामा मचाकर मामले को विवादित बना दिया जाता है। जिसके बाद इन्हीं का कोई नेता मध्यस्थता कर कथित पीड़ित पक्ष को लाखों रुपए का मुआवजा दिलाता है । इसे एक सुनियोजित षड्यंत्र बताया जा रहा है। बंगाल में इसी सुनियोजित षड्यंत्र के तहत एक चिकित्सक की मौत के बाद बिलासपुर में भी चिकित्सक मुखर होते नजर आ रहे हैं। उन्हीं के द्वारा शुक्रवार को सिम्स के सामने विरोध प्रदर्शन कर अपनी मांगे रखी जाएगी।