डेस्क
सरकारी नौकरी के पीछे पागलपन की हद तक जुनून के चलते अक्सर युवा बेरोजगार ठगों के शिकार बन जाते हैं। युवाओं में रेलवे की नौकरी को लेकर खासा आकर्षण है। और अक्सर ठग इसी का लाभ उठाते हैं। ऐसा ही एक मामला फिर से बिलासपुर में आया है। बताया जा रहा है कि कोलकाता सिलीगुड़ी निवासी हिम बहादुर अपने कुछ साथियों के साथ रेलवे क्षेत्र के एक होटल में ठहर कर रेलवे के ग्रुप डी में भर्ती कराने का दावा करते हुए बेरोजगारों से आवेदन ले रहा था। खुद को भारतीय रेलवे माल गोदाम श्रमिक संघ का अधिकारी बताते हुए संघ का मोनो इस्तेमाल कर वह ग्रुप डी में भर्ती का दावा करते हुए बेरोजगार युवकों से 1 लाख 20 हज़ार रुपये की मांग कर रहा था। इस दौरान जूनी लाइन निवासी खुर्शीद अली और उसके भाई ने भी उनसे संपर्क किया। जिनसे 60- 60 हज़ारे रु में सौदा तय हुआ। इसके बाद दोनों ने उन लोगों को 37-37 हज़ार रुपए दिए भी लेकिन बदले में किसी तरह का रसीद ना देने पर खुर्शीद अली को शक हुआ और उसने इसकी शिकायत तोरवा थाने में कर दी। लेकिन जब तक पुलिस उन तक पहुंच पाती तब तक उन्हें भनक लग गई थी और सिलीगुड़ी निवासी हिम बहादुर अपने साथी रायपुर में रहने वाले गोविंदराव के साथ फरार हो गया था।
मौके पर पहुंची पुलिस ने इस काम में जुटे एजेंट सराईपाली निवासी बिरिक लाल साहू और महासमुंद निवासी भीखम चंद्राकर को गिरफ्तार कर लिया है। वहीं दोनों फरार आरोपियों की पुलिस तलाश कर रही है। खुर्शीद अली बंधुओं के अलावा पत्थलगांव के बंटी ,ललित बघेल ,अमित आदि को भी इन ठगों ने अपना शिकार बनाया है।