
आलोक
बरसात के इस मौसम में जर्जर भवनों में संचालित स्कूल जानलेवा साबित हो रहे हैं । एक बार फिर एक स्कूल में छत का प्लास्टर गिर गया। इस बार यह दुर्घटना मंगला के शासकीय मिडिल स्कूल में हुयी। सातवीं कक्षा में पंखे के पीछे से छत का प्लास्टर उखड़ कर गिर पड़ा। यह गनीमत रही उस वक्त रिसेस चल रहा था। जिस कारण बच्चे कक्षा में नहीं थे। इस कारण किसी को चोट नहीं आई। आपको याद दिला दें कि कुछ दिनों पहले रतनपुर में भी इसी तरह कक्षा में छत का प्लास्टर उखड़ कर गिर पड़ा था, जिसमें दर्जनभर छात्राएं घायल हो गई थी।
बरसात के इस मौसम में अधिकांश जर्जर स्कूल के भवन सीपेज ग्रस्त हो चुके हैं और इसी कारण से प्लास्टर उखड़ रहे है। खासकर छज्जे और छत से प्लास्टर इसी तरह गिर रहे हैं । इस तरह की घटना के बाद स्कूल के बच्चे सहमे हुए हैं। अगर दुर्घटना के वक्त कक्षा चल रही होती तो जाहिर है कई बच्चे चोटिल होते। पंखे के नीचे बैठने वाले बच्चे इसी डर से सहमे नजर आ रहे हैं। वही स्कूल प्रबंधन ने दुर्घटना के तुरंत बाद इसकी शिकायत पंचायत से की जिन्होंने मरम्मत कार्य शुरू कर दिया है। लेकिन देखा यही जा रहा है कि सभी स्कूलों में दुर्घटना के बाद ही इस तरह की पहल की जाती है। जबकि जरूरी यह है कि सभी जर्जर भवनों की जांच कर समय रहते उन्हें ठीक कराया जाए, ताकि इस तरह की घटनाओं की पुनरावृत्ति ना हो।